350

Meri Bebaq Qalam

(0 customer review)

"शोख निगाहों से मत पूछो, उनकी आश्नाई का एतबार, इल्म कूचियों में ढूंढा करते वो, संजीदगी पोशीदा है अक्श की गहराईयों में। डॉ. रानी रुणम ए मेरी कलम इतना सा एहसान कर दे, जो कह न पाई जुबां वो सब बयान कर दे। हर किसी का नसीब लिखकर, मेरी बबाक कलम को सभी के दिलों के करीब कर दे। भारत मेरी बेबाक कलम जो लिखती है जज़्बात, थिरकते लफ़्ज़ करते हैं बात। स्याही में लिपटे हुए अश्क़ हैं, जो करते हैं दिलों पर आघात। डॉ. हारुन रशीद "

BUY NOW

Publisher: Author:

ISBN: 978-93-5452-331-1 | Language: English | Pages: 273
Category:

Meet The Author

" My books are marked down because most of them are marked with a on the edge by publishers. "

0 review for Meri Bebaq Qalam

No reviews to display.
Add a review

Your email address will not be published. Required fields are marked *